Sanchhipt Susruta Samhita

Shukla,S.V.

Sanchhipt Susruta Samhita - Varanasi Chaukhambha Orientalia 2022 - 226p.

विषयानुक्रमणिका
विषय नाम
पेज न.
सूत्र स्थान
विषय नाम
१३-७९
१. वेदोत्पत्ति
१३
२. शिष्योपनयनीय
३०. पजेन्द्रियार्थ विप्रतिपत्ति
२९. विपरीता विपरीत स्वप्न नि०५२
पेज न
१५
३. अध्ययन सम्प्रदानीय
३१ छाया विप्रतिपत्चि
४. प्रभाषणीय
१५
३२. स्वभात विप्रतिपत्ति
१६
५. अग्रओपहरणीय
३३. अनारणीय
१६
६. ऋतुचर्या
३४. युक्तसेनीय
१७
७. यन्त्र विधि
३५. आतुरोपक्रमणीय
१८
३६. भूमित्रविमागीय
८. शस्त्रावचारणीय
२३
९. योग्यासूत्रीय
३७. मिश्रक अध्याय
२७
१०. विशिखानुप्रवेशनीय
३८. द्रव्य संग्रहणीय
'२७
३९. संशोधन संशमनीय
११. क्षार-पाक विधि
२७
१२. अग्निकर्म
४०. द्रव्य, रस, गुण, वीर्य,
२९
विपाक
१३. जलौकावचारणीय
३१
४१. द्रव्य विशेष विज्ञानीय
१४. शोणित वर्णनीय
३२ ४२. रस विशेष विज्ञानीय
१५. दोष धातु मल क्षय वृद्धि
३४ ४३. वमन द्रव्य विकल्प वि०
१६. कर्ण व्यध बंधन विधि
३७ ४४. विरेचन द्रव्य विकल्प वि०४
१७. आम पक्वैषणीय
३८ ४५. द्रव द्रव्य विधि
१८. व्रणालेपन बंध विधि
३९
४६. अन्नपान विधि
१९. व्रणितोपासनीय
४१
निदान स्थान ८०-१०
२०. हिताहितीय
४१ १. वात व्याधि निदान
२१. व्रण प्रश्न
४२
२. अर्श निदान
२२. व्रण स्राव विज्ञानीय
४४
३. अश्मरी नि०
२३. कृत्याकृत्य
४५ ४. भगन्दर नि०
२४. व्याधि समुद्देशीय
४६ ५. कुष्ठ नि०
२४. अष्टविध शस्त्रकर्मीय
४८
६. प्रमेह नि०
२६. प्रनष्ट शल्य विज्ञानीय
५०
७. उदर नि०
२७. शल्यापनयनीय
५०
८. मूढगर्भ नि०
२८. विपरीता विपरीत व्रण वि०
९. विद्रधि नि०
११. अप
१०. विसर्च काही सरन
२१
१२. शर
११. अधुनि
१३. क्षुद रोग वि
१२. वृद्धि उपदेश श्लीपद नि०१३
१५. उदरपि
१५.
१४. शूकोष नि
২৭
१५. यस निदान
९६
१७
९६
१६. मुख रोग निदान
९७
१८. मन्यि अपची अर्बुद गलगण्ड
शारीर स्थान १०२-२२२
९. सर्वभूत चिन्ता शारीर
१०३
१९. वृद्धि उपदंश श्लीपद
२. शुक्रशोणित शुद्धि शा०
१०५
२०. क्षुद्र रोग वि०
३. गर्भावक्रान्ति
१०८
२१. शुक दोष चि०
४. गर्भ व्याकरण
१०९ ११२
२२. मुख रोग चि०
५. शरीर संख्या व्याकरण
२३. शोफ चि०
६. मर्म निर्देश
११५
२.४. अनागत बाधा प्रतिषेध
७. सिरा वर्ण विभक्ति
११६
२५. मिश्रक चि०
८. सिरा व्यध विधि
११७
२६. क्षीण बलीय बाजी०
९. धमनी व्याकरण
११९
२७. सर्वोपघात शमनीय रसा०
१०. गर्भिणी व्याकरण
१२०
२८. मेधायुष्कामीय रसा०
चिकित्सा स्थान १२३-१६८
२९. स्वभाव व्याधि प्रतिषेधनीया
१. द्विव्रणीय चिकित्सित
१२३
३०. निवृत्त संतापीय रसा०
२. सद्योव्रण चिकित्सित
१२५
३१. स्नेहोपयौगिक चि०
३. भग्न चि०
१२६
३२. स्वेदावचारणीय
४. वात व्याधि चि०
१२७
३३. वमन विरेचन साध्योपद्रव
५. महावात व्याधि चि०
१२७
३४. वमन विरेचन व्यापत् चि
६. अर्श चि०
१२९
३५. नेत्र वस्ति प्रमाण प्रविभाग
७. अश्मरी चि०
१३१
३६. नेत्र वस्ति व्यापद् चि०
८. भगंदर चि०
१३२
३७. अनुवासन उत्तर वस्ति
९. कुष्ठ चि०
१३२
३८. निरूह क्रम चि०
१०. महाकुष्ठ चि०
१३३
३९. आतुरोपद्रव चि०
११. प्रमेह चि०
१३३ ४०. धूम नस्य कवल ग्रह
विषयानुक्रमणिका
विषय नाम पेज न.
विषय नाम
कल्प स्थान १६९-९७८
२२. नासागत रोग विज्ञा
१. अन्नपान रक्षा कल्प
१६९
२३. नासागत रोग प्रति०
२. स्थावर विष विज्ञानीय
१६९
२४. प्रतिश्याय प्रतिषेध
३. जङ्गम विष विज्ञानीय
१७१
२५. शिरोरोग विज्ञानीय
४. सर्पदाष्ट विष विज्ञा०
१७३
२६. शिरोरोग प्रतिषेध
५. सर्पदष्ट विष चिकित्सित
१७५
२७. नवग्रहाकृति विज्ञानीय
६. दुन्दुभि स्वनीय
१७५
२८. स्कन्ध ग्रह प्रतिषेध
७. भूषिक कल्प
१७६ २९. स्कन्दापस्मार प्रतिषेध
८. कीट कल्प
१७६
३०. शकुनी प्रतिषेध
उत्तर तन्त्र १७९-२२४
३१. रेवती प्रति०
१. औपद्रविक अध्याय
१७९
३२. पूतना प्रति०
२. संधिगत रोग विज्ञानीय
१८१
३३. अंधपूतना प्रति०
३. वर्त्मगत रोग विज्ञा०
१८२
३४. शीत पूतना प्रति०
४. शुक्लगत रोग विज्ञा०
१८४
३५. मुख मण्डिका प्रति०
५. कृष्ण गत रोग विज्ञा०
१८५
३६. नैगमेष प्रति०
६. सर्वगत रोग विज्ञा०
१८६
३७. ग्रहोत्पत्ति
७. दृष्टिगत रोग विज्ञा०
१८७
३८. योनि व्यापत्प्रतिषेध
८. चिकित्सित प्रविभाग वि०
१८८
३९. ज्वर प्रतिषेध
९. वाताभिष्यन्द प्रतिषेध १८९
४०. अतिसार प्रतिषेध
१०. पित्ताभिष्यन्द प्रतिषेध
१८९
४१. शोष प्रति०
११. श्लेष्माभिष्यन्द प्रति०
१८९
४२. गुल्म प्रति०
१२. रक्ताभिष्यन्द प्रति०
१९०
४३. हृदरोग प्रति०
१३. लेख्य रोग प्रति०
१९०
४४. पाण्डुरोग प्रति०
१४. भेद्य रोग प्रतिषेध
१९१
४५. रत्तपित्त प्रति०
१५. छेद्य रोग प्रतिषेध
१९१
४६. मूर्च्छा प्रतिषेध
१६. पक्ष्मकोप प्रति०
१९२
४७. पानात्यय प्रति०
१७. दृष्टिगत रोग प्रति०
१९२
४८. तृष्णा प्रति०
१८. क्रियाकल्प
१९४
४९. छर्दि प्रति०
१९. नयनाभिघात प्रति०
१९६
५०. हिक्का प्रति०
२०. कर्णगत रोग विज्ञानीय
१९७
५१. श्वास प्रति०
२१. कर्णगत रोग प्रतिषेध
५२. कास प्रति०
१२
संक्षिप्त सुश्रुत संहिता
विषय नाम
पेज न.
विषय नाम
५३. स्वरभेद प्रति०
२१६
६४. स्वस्थवृत्तमध्यायं
५४. कृमिरोग प्रति०
२१७
६५. तन्त्र युक्ति
५५. उदावर्त प्रति०
२१८
६६. दोष भेद विकल्प
५६. विसूचिका प्रति०
२१८
परिशिष्ट
५७. अरोचक प्रति०
२१८
चित्र विवरण
५८. मूत्राघात प्रति०
२१९
१. सीवन विधियाँ
५९. मूत्रकृच्छ प्रति०
२१९
२. गुदा
६०. अमानुषोपसर्ग प्रतिषेध
२१९
३. मूढगर्भ प्रकार
६१. अपस्मार प्रतिषेध
२२०
४. यन्त्र
६२. उन्माद प्रतिषेध
५. शस्त्र
६३. रस भेद विकल्प

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